ग्वालियर-चंबल. अब ग्वालियर-चंबल बीहड़ों और डकैतों के लिए नहीं जाना जाता। सामाजिक बदलाव के चलते यहां अपराध भी कुछ कम हुए हैं, लेकिन एक नए अपराध ने जन्म लिया है। अवैध रेत का कारोबार। यहां दिनदहाड़े अवैध रेत का उत्खनन और परिवहन हो रहा है। खुलेआम अवैध रेत की मंडी लग रही है। प्रकृति को नुकसान पहुंचाकर करोड़ों का वारे-न्यारे करने वाला यह अवैध व्यवसाय बंदूक की दम से ज्यादा नेताओं और पुलिस की पार्टनरशिप में फल-फूल रहा है। इस क्षेत्र के ज्यादातर नेता और उनके समर्थक रेत के कारोबार से जुड़े हैं।