वीडियो जानकारी:
संवाद सत्र
२६ सितम्बर, २०१३
बी.बी.डी.आई.टी, ग़ाज़ियाबाद
प्रसंग:
क्या हम सबकुछ स्वार्थ की खातिर ही करते हैं?
स्वार्थी होना सही है या गलत?
क्या स्वार्थी व्यक्ति दूसरों का हित नहीं कर सकता?
परमार्थ कैसे सिद्ध हो?
कहीं डर के पीछे स्वार्थ तो नहीं?
निस्वार्थ होने का क्या अर्थ है?
स्वार्थ का क्या अर्थ है?
स्वार्थी कहलाने पर दुःख क्यों होता है?
संबंधों में स्वार्थ क्यों होता है?
हमारे लक्ष्य क्यों बदलते रहते है?
लक्ष्य बनाना आवश्यक है क्या?