Basant Panchami Saraswati Puja is celebrated every year on Panchami Tithi of Shukla Paksha of Magh month. According to mythology, Saraswati, the goddess of knowledge and learning, was born on this day. It was only after their appearance that the voice was transmitted to the soundless universe. Therefore, every year on the fifth day of Magh month, Saraswati is worshiped on Basant Panchami. While worshiping Saraswati Devi is considered to be welfare at any given time, her worship on the day of Basant Panchami has special significance. Even this time, some special yogas on Basant Panchami have made this day more important. This time on the day of Basant Panchami, the planets Guru, Venus and Mercury, which are the factors of knowledge and intelligence, are sitting in the same zodiac. Along with this, three auspicious yogas are being created on the day of Saraswati Puja. Know Saraswati Puja 2021 Murti Visarjan Muhurat and Saraswati Puja 2021 Murti Visarjan Mantra.
बसंत पंचमी सरस्वती पूजा हर साल माघ मास की शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाई जाती है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, ज्ञान और विद्या की देवी सरस्वती का प्राकट्य इसी दिन हुआ था। इनके प्राकट्य के बाद ही ध्वनि शून्य सृष्टि में स्वर का संचार हुआ। इसलिए हर साल माघ मास की पंचमी तिथि को बसंत पंचमी के दिन सरस्वती पूजन किया जाता है। यूं तो कभी भी किसी दिन सरस्वती देवी की पूजा कल्याणकारी मानी गई है लेकिन बसंत पंचमी के दिन की इनकी पूजा का खास महत्व है। इस पर भी अबकी बार बसंत पंचमी पर कुछ खास योगों ने इस दिन को और महत्वपूर्ण बना दिया है। इस बार बसंत पंचमी के दिन ज्ञान और बुद्धि के कारक ग्रह गुरु, शुक्र और बुध तीनों एक ही राशि में बैंठें हैं। इसके साथ ही इस बार सरस्वती पूजा के दिन तीन शुभ योग निर्मित हो रहे हैं। जानें सरस्वती पूजा 2021 मूर्ति विसर्जन मुहूर्त और मंत्र ।
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