After the second wave of corona in the country has stopped for some time, now there is a possibility of third wave. The recently revealed Delta Plus variant of Corona has raised concerns. Experts say that if there is a third wave, then the delta plus variant can act as a main factor. In such a situation, ICMR has published a study on the possibility of third wave of COVID-19 in India. It has been said in the study that if the third wave of corona comes in India, then it will not be as severe as the second wave. However, a rapid increase in vaccination efforts can play an important role in reducing not only corona but any other wave in the future. Talking about the possibilities of the third wave in the study, it has been said that this immunity based immunity can decrease over time. In such a situation, people who have already come to the extent of infection can get infected once again.
देश में कोरोना की दूसरी लहर के कुछ थमने के बाद अब तीसरी लहर की आशंका बनी हुई है. हाल ही में सामने आए कोरोना के डेल्टा प्लस वैरिएंट ने चिंताएं बढ़ा दी हैं. एक्सपर्ट्स का कहना है कि यदि तीसरी लहर आई तो उसमें डेल्टा प्लस वैरिएंट एक मुख्य कारक के रूप में कार्य कर सकता है. ऐसे में ICMR ने भारत में COVID-19 की तीसरी लहर की संभावना पर एक अध्ययन प्रकाशित किया है. अध्ययन में कहा गया है कि भारत में अगर कोरोना की तीसरी लहर आती है तो यह दूसरी लहर जितनी गंभीर नहीं होगी. हालांकि टीकाकरण के प्रयासों में तेजी से बढ़ोतरी ना सिर्फ कोरोना बल्कि भविष्य में किसी अन्य लहर को कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है. अध्ययन में तीसरी लहर की संभावनाओं पर बात करते हुए कहा गया है कि संक्रमण आधारित प्रतिरक्षा क्षमता ये इम्युनिटी कैपेसिटी समय के साथ कम हो सकती है. ऐसे में पहले से संक्रमण की हद में आ चुके लोग एक बार फिर संक्रमित हो सकते हैं.
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