रूस-यूक्रेन युद्ध (Russia-Ukraine War) के बाद, एक साल के अंदर रूस से हमारा ऑयल इंपोर्ट कई गुना बढ़ गया. जब इतना सस्ता तेल आ रहा था, तो अपने यहां पेट्रोल-डीजल सस्ता क्यों नहीं हुआ? इसका फायदा कौन उठा ले गया. सवाल ये है कि क्या केवल दो निजी रिफाइनिंग कंपनियां (Private Refinery) ही इस सस्ते तेल से बंपर प्रॉफिट कमा रही हैं?